साइबर फ्रॉड बढ़े : 17 करोड़ की ठगी, 55 लाख की रिकवरी
साइबर फ्रॉड के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। डिजिटल दुनिया में साइबर क्रिमिनल पुलिस के लिए चुनौती बन चुके है। नए-नए पैंतरे आजमा कर साइबर अपराधी क्राइम कर रहे हैं, जिसके चलते हर दिन साइबर ठगी का ग्राफ बढ़ रहा है।
 
                                    साल के अंत में साइबर पुलिस लंबित प्रकरणों के निपटारे में जुटी
द त्रिकाल डेस्क, जबलपुर।
साइबर फ्रॉड के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। डिजिटल दुनिया में साइबर क्रिमिनल पुलिस के लिए चुनौती बन चुके है। नए-नए पैंतरे आजमा कर साइबर अपराधी क्राइम कर रहे हैं, जिसके चलते हर दिन साइबर ठगी का ग्राफ बढ़ रहा है। हर दिन थानों में ठगी की शिकायतें पहुंच रही हैं। सन् 2024 में एक जनवरी से लेकर 13 दिसम्बर तक 130 शिकायतें राज्य साइबर जबलपुर जोन में पहुंची हैं। जिनमें से 75 अपराध दर्ज किए गये। बाकी लंबित है। इस साल करीब राज्य साइबर पुलिस जबलपुर जोन के रिकॉर्ड में कुल 17 करोड़ की ठगी हुई हैं। जिसमें से 55 लाख रूपए की रकम की रिकवरी हुई है। यह रकम पुलिस ने पीड़ितों के अकाउंट से गई राशि को फ्रीज कराकर पीड़ितों को वापस कराई है। अब साल के अंत में साइबर पुलिस लंबित प्रकरणों के निपटारे में जुटी हुई है। इसके साथ ही फरार आरोपियों की गिरफ्तारियों के प्रयास भी तेज कर दिए गये हैं।
ये है पैंतरे-इस समय डिजिटल अरेस्ट के नाम पर साइबर फ्रॉड के मामले बढ़े है। पुलिस या जांच एजेंसियों के नाम पर कॉल कर किसी अपराध में गिरफ्तारी का भय दिखाकर पैसे ऐंठे जा रहे है। जबकि डिजिटल अरेस्ट जैसा कोई प्रावधान नहीं है। इसके आलवा शेयर मार्केट में मुनाफे का लालच, ऑनलाइन ट्रेडिंग, घर बैठे जॉब, ऑनलाइन पार्सल, मोबाइल हैक कर, ओपीडी पूछते हुए भी ठगी हो रही। अपराधी वृद्ध जनों को सबसे अधिक टारगेट कर रहे है। दस्तावेजों को अपडेट करने, गिफ्ट, लिंक के जरिए भी जालसाजी हो रही है। इसके अलावा अनेक पैंतरे आजमाकर ठगी की जा रही है।
सावधानी बरतें, झांसे में न
आयें-राज्य साइबर जबलपुर जोन टीआई नीलेश अहिरवार ने बढ़ते साइबर फ्रॉड से बचाव के टिप्स देते हुए बताया कि लोग सोशल मीडिया का उपयोग सावधानी से करें, अंजान व्यक्तियों की फ्रेंड रिक्वेस्ट स्वीकार न करें। अनजान व्यक्तियों द्वारा भेजे गए किसी लिंक पर क्लिक न करें न ही कोई एप्लीकेशन इंस्टाल करें। घर बैठे जॉब, अज्ञात द्वारा दिए जा रहे प्रलोभन के झांसे में न आये। किसी संस्थान, कंपनी के कस्टमर केयर से संपर्क की जानकारी के लिये उसकी अधिकृत वेबसाइट का प्रयोग करें।
24 घंटे में शिकायत तो रकम फ्रीज
साइबर ठगी के मामलों में 24 घंटे बहुत ही महत्वपूर्ण होते है। अगर साइबर फ्रॉड होने के चौबीस घंटे के भीरत पीड़ित पुलिस से संपर्क कर ले तो खाते से ट्रांसफर हुई रकम को पुलिस फ्रीज कराने में न केवल प्रयास करती है बल्कि रकम को रिकवर भी करवा लेती है। एडवाइजरी फिर भी जागरूक नहीं बढ़ते साइबर अपराधों और साइबर ठगों के पैंतरे को लेकर पुलिस समय-समय पर एडवाइजरी जारी करती है इसके साथ ही जागरूक कार्यक्रम भी आयोजित करती हैं जिससे लोग साइबर ठगी का शिकार न हो लेकिन जागरूकता की कमी के चलते साइबर क्राइम तेजी से बढ़ रहे हैं।
मुख्य आंकड़े एक नजर में
130 शिकायतें पहुंची
75 अपराध दर्ज हुई
20 मामलों का निराकरण
55 शिकायतें लंबित, जांच जारी
कुल 17 करोड़ की ठगी
55 लाख रूपए की रिकवरी                        
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 

 
                                                                                                                                             
                                                                                                                                             
                                                                                                                                             
                                             
                                             
                                             
                                             
                                             
                                             
                                             
                                             
                                            