पाकिस्तान की बौखलाहट, भारत का करारा जवाब
भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव अब चरम पर पहुंच चुका है । इस बढ़ते तनाव के बीच अब परमाणु हथियारों, खासकर एटम बम और हाइड्रोजन बम की चर्चा तेज हो गई है ।

- एटम बम बनाम हाइड्रोजन बम,
- बढ़ते खतरे के बीच जानें दोनों में क्या है अंतर
भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव अब चरम पर पहुंच चुका है । भारत द्वारा आतंकवाद के खिलाफ शुरू किए गए' ऑपरेशन सिंदूर' से नाराज पाकिस्तान ने गुरुवार को भारत के लगभग 15 शहरों को निशाना बनाने की कोशिश की, लेकिन भारतीय सुरक्षा बलों ने समय रहते इन सभी हमलों को विफल कर दिया । इस बढ़ते तनाव के बीच अब परमाणु हथियारों, खासकर एटम बम और हाइड्रोजन बम की चर्चा तेज हो गई है । दुनिया ने पहली बार एटम बम का असर तब देखा जब अमेरिका ने 1945 में जापान के हिरोशिमा और नागासाकी पर इसे गिराया था, जिससे भारी तबाही हुई थी ।
हाइड्रोजन बम, एटम बम से कहीं अधिक विनाशकारी-
यह तबाही सिर्फ एक शुरुआत थी । इसके बाद और भी ज्यादा शक्तिशाली हथियार – हाइड्रोजन बम – का विकास हुआ, हालांकि अब तक किसी युद्ध में इसका प्रयोग नहीं हुआ है। हाइड्रोजन बम को एटम बम से कहीं अधिक विनाशकारी माना जाता है ।
आइए जानते हैं इन दोनों बमों के बीच का अंतर और कौन है ज्यादा खतरनाक-
क्या होता है एटम बम-
परमाणु बम विस्फोट में बहुत ज्यादा ऊर्जा पैदा करने के लिए" nuclear fission" नाम की प्रक्रिया का इस्तेमाल होता है । इसमें किसी भारी परमाणु का केंद्र( Nucleus) टूटकर छोटे- छोटे हिस्सों में बंट जाता है । ऐसा होने पर न्यूट्रॉन और ऊर्जा निकलती है । यह ऊर्जा बहुत ताकतवर होती है । अमेरिका ने 1945 में जापान के हिरोशिमा और नागासाकी शहरों पर ऐसे ही परमाणु बम गिराए थे ।
क्या होता है हाइड्रोजन बम-
हाइड्रोजन बम एक व्यापक प्रक्रिया पर चलने वाला डिवाइस है । इसमें परमाणु बम और थर्मोन्यूक्लियर बम दोनों शामिल हैं । थर्मोन्यूक्लियर बम जिन्हें हाइड्रोजन बम या H- bomb के तौर जाना जाता है । परमाणु संलयन का इस्तेमाल करते हैं । जहां हल्के परमाणु नाभिक मिलकर भारी नाभिक बनाते हैं जिससे ऊर्जा निकलती है ।
दोनों के बीच क्या है अंतर-
आपको बता दें कि परमाणु बम और हाइड्रोजन बम के बीच मुख्य अंतर उनकी ऊर्जा का स्रोत है । नाभिकीय विखंडन पर परमाणु बम आधारित है, तो वहीं हाइड्रोजन बम नाभिकीय संलयन पर आधारित है । हाइड्रोजन बम परमाणु बम की तुलना में ज्यादा शक्तिशाली होता है क्योंकि संलयन प्रतिक्रिया, विखंडन प्रतिक्रिया की तुलना में ज्यादा ऊर्जा निकालती है ।
कब और किसने बनाए थे ये बम-
सेकंड वर्ल्ड वॉर के दौरान अमेरिका ने' Manhattan Project' के तहत पहला एटम बम बनाया । वैज्ञानिक जे. रॉबर्ट ओपेनहाइमर के नेतृत्व में इस परियोजना के अंतर्गत 16 जुलाई 1945 को पहला परीक्षण 'Trinity' नाम से किया गया । इसके एक महीने बाद हिरोशिमा और नागासाकी पर बम गिराए गए, जिससे जापान ने आत्मसमर्पण कर दिया और युद्ध समाप्त हो गया ।
हाइड्रोजन बम का विकास कोल्ड वॉर के समय हुआ । अमेरिका ने 1952 में इसका पहला परीक्षण किया, जो हिरोशिमा पर गिराए गए एटम बम से लगभग 1000 गुना अधिक शक्तिशाली था । अमेरिका के बाद ब्रिटेन, चीन, रूस, फ्रांस, भारत और इजरायल भी इस तकनीक का परीक्षण कर चुके हैं ।